मराठा साम्राज्य का इतिहास | History of Maratha Empire PDF In Hindi

‘मराठा साम्राज्य का इतिहास’ PDF Quick download link is given at the bottom of this article. You can see the PDF demo, size of the PDF, page numbers, and direct download Free PDF of ‘Maratha Empire History’ using the download button.

मराठा प्रांतीय राजवंश का इतिहास – History of Maratha Provincial Dynasty PDF Free Download

मराठा साम्राज्य का इतिहास और शासनकाल

बिंदु(Points)जानकारी (Information)
साम्राज्य (Empire)मराठा साम्राज्य
संस्थापक (Founder)शिवाजी भोंसले
मराठा शासनकाल (Maratha Reign)1674 – 1818
अंतिम शासक (Last Emperor)प्रतापसिंह छत्रपति
राजधानियाँ (Capitals)रायगढ़ किला, गिंगी, सतारा, पुणे
मराठा राज्य का दूसरा संस्थापक (Second Founder)बालाजी विश्वनाथ
मराठा राज्य के प्रथम पेशवा (First Peshwa)बालाजी विश्वनाथ
मराठा राज्य के अंतिम पेशवा (Last Peshwa)बाजीराव पेशवा द्वितीय
भाषाएँ (Languages)मराठी और संस्कृत
पतन बाद किसने शासन किया (Who rule after fall)ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी

शिवाजी (1640-1680)

मराठा साम्राज्य के संस्थापक शिवाजी का जन्म 19 फरवरी, 1630 को शिवनेर के दुर्ग में हुआ था। शिवाजी के पिता का नाम शाहजी भोंसले तथा माता का नाम जीजाबाई था।

शिवाजी का विवाह सईबाई निम्बालकर से 1640 ई० में हुआ।

शिवाजी के राजनीतिक गुरु दादाजी कोंडदेव थे एवं आध्यात्मिक गुरु रामदास थे। शिवाजी ने सबसे पहले 16 वर्ष की आयु में बीजापुर रियासत के तोरण किले पर अधिकार कर किया।

1656 ई० में शिवाजी ने रायगढ़ को अपनी राजधानी बनाया। इसी दौरान मुगल सम्राट औरंगजेब ने 1660 ई० में शाइस्ता खां को दक्षिण का राज्यपाल नियुक्त कर दक्षिण फतह

करने का कार्य सौंपा। 1663 में शिवाजी ने शाइस्ता खां पर आक्रमण कर उसका अंगूठा काट दिया एवं उसके पुत्र की हत्या कर दी।

1664 में शिवाजी ने सूरत में भयंकर लूटपाट की थी।

इससे परेशान होकर औरंगजेब ने 1665 ई० में राजा जयसिंह को दक्षिण की बागडोर सौंपी। इसके तुरंत बाद हो पुरंदर पर आक्रमण कर शिवाजी की माता संग परिवार को बंदी बना लिया।

1665 ई० में जयसिंह व शिवाजी के बीच पुरंदर की संधि हुई। इसके तहत शिवाजी ने अपने आधीन 23 किले मुगलों को देकर मात्र 12 किले अपने अधिकार में रखें। इसी संधि के तहत शिवाजी के पुत्र शम्भाजी को मुगल दरबार में नियुक्त कर दिया गया।

जयसिंह के विश्वास पर 1666 ई० में शिवाजी आगरा पहुंचे। यहां पर शिवाजी को औरंगजेब ने कैद कर लिया। यहां से शिवजी इसी वर्ष अगस्त 1666 ई० में भाग निकले

5 जून 1674 ई० में शिवाजी ने रायगढ़ में बनारस के प्रसिद्ध विद्वान श्री गंगा भट्ट द्वारा अपना राज्याभिषेक करवाया तथा छत्रपति की.

शम्भाजी (1680-1689)

शिवाजी की मृत्यु के बाद उनके पुत्र शम्भाजी छत्रपति के सिंहासन पर बैठे। संभाजी ने उज्जैन के हिन्दी और संस्कृत के विद्वान कवि कलश को अपना सलाहकार बनाया।

1689 ई० में शम्भाजी और कवि कलश को मुगलों ने गिरफ्तार कर लिया और औरंगजेब ने इसकी हत्या करवाने से पहले इनकी आंखें निकलवाकर, जुबान करवा दी थी।

मुगलों द्वारा शम्भाजी के पुत्र शाहूजी को भी गिरफ्तार कर कैद कर लिया गया।

1707 ई० में औरंगजेब की मृत्यु के बाद शाहूजी को रिहा कर दिया गया।

राजाराम (1689-1700)

1689 ई० में शम्भाजी की मृत्यु के बाद उनके भाई राजाराम का एक नए छत्रपति के रूप में राज्याभिषेक हुआ। राजाराम ने अपनी राजधानी सतारा को बनाया।

राजाराम को पत्नी राजसबाई से सम्भाजी- 2 और पत्नी ताराबाई से शिवाजी 2 पुत्र हुए अधिक जानकारी उपलब्ध नहीं है।

राजाराम की मृत्यु 1700 ई० में मुगलों से संघर्ष करते हुए हो गई।

इतिहास में शम्भाजी- 2 की

शिवाजी-2 (1700-1707)

राजा राम की मृत्यु के बाद उनकी विधवा पत्नी ताराबाई ने अपने 4 वर्षीय पुत्र शिवाजी-2 का राज्याभिषेक करवा दिया और उसके संरक्षक के रूप में 1700-1707 ई० तक राज्य संभाला।

शाहूजी (1707-1749)

शम्माजी के पुत्र शाहूजी को औरंगजेब की मृत्यु के बाद 707 ई० में छोड़ दिया गया था

शाहू जी में वापस आकर राजा राम की पत्नी ताराबाई में अपना अधिकार मांगा परन्तु उसके इनकार कर देने परान्त

शाहूजी ने बालाजी विश्वनाथ की मदद से खड़ा का युद्ध लड़ा और ताराबाई को पराजित किया।

उसके बाद शाह जी ने 1713 में बालाजी विषनाथको नाया।

1749 ई० में शाह जी को मृत्यु हो गयी। उनका कोई भी उत्तराधिकारी नहीं था।

1950 ई० मेगा संधि से राजाराम 2 को नाममा बना दिया गया और सभी शक्तिया पेशवा के अन्तर्गत कर दी गयो।

लेखक
भाषा हिन्दी
कुल पृष्ठ 3
PDF साइज़1 MB
CategoryHistory
Source/Creditsdrive.google.com

मराठा साम्राज्य का इतिहास – History of Maratha Empire PDF Free Download

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!