प्रसार एवम ग्राम कल्याण – Extension And Rural Welfare Book Pdf Free Download

पुस्तक का एक मशीनी अंश
१९५७ में कृषि प्रसार कानून पास हुमा और उसके अन्तर्गत ही इस देश में वर्तमान प्रसार खेवा यार हुई । सन १६३६ में ही सुपान में कृषि एवं वन मंत्रालय ने इपि इन्स्टीट्यूट स्थापित किया ।
इस इन्स्टीन्यू ट में दो न्यूरो हैं-(१) कवि प्रसार मूरी, एवं (२) कृषि अनुसंधान यूरो। इनकी यहायता के लिए प्राम्तीय इम्स्टीक ट सोलगये ह।
कोरिया प्रसार कार्य के अन्तर्गत फार्मनुथार, गृह अर्थशास्त्र, युवक शिक्षा, आदि पाते हैं। इसका संगठन काउन्टी, प्रान्तीय, एवं केन्द्रीय तीनों स्तर पर है।
१९५१ में २३७ ऐसे कार्यकर्ता कृषि प्रसार कार्य में संपन्न मे घौर ३७३० युवक अलयों की १४२६०० सदस्यता थी। प्रत्येक स्तर के प्रसार कार्यकर्ताओं प्रशिक्षण का भी विशेष प्रबंध है ।
७. नेपाल सन् १८५२ में नेपाल का यमरीका सरकार के साथ एक समझौता हुमा जिसके इन्तत आमनुधार का कार्य किया गया । नेपाल की पंचवधीय योजना सन १९१६ में प्रारम्भ हुई।
इस देश की प्रसार सोया का संगठन भारत की तरह का ही है। इसमें पाँच, जिला एवं राष्ट्रीप, तीन स्तर है। पौर भारत की तरह ही विकास संग (Blocks) ही है।
श्रत्येक व्हाक में अन्य १०० गाँव और ६६००० जनसंख्या है । इस देश की प्रसार सेवा का ध्येय भी भारत जैसा हो है ।
सद १६६२ तक ४३ विकाससंक बन चुके है जिसके अन्तर्गत देश का अगाधना बाधा दोन पाया है। नेपाल को भारत एवं अमेरिका दोनों देशों से ही इस कार्य हेतु सहायता उपलब्ध है। देश को पूर्वी परिनर्मी एवं केन्द्रीय भावों में बंद कर
प्रत्येक में एक कष्रीय कर्मचारी रखा गया है। प्रत्येक क्षेत्र में लगभग १२ जिले हैं। प्रत्येक जिले में १0-१४ विकास खन्छ । प्रत्येक विकास खंड एक बी डी० ओ० (Block Deve lopment Officer) को देख रेख में है
लेखक | ओमप्रकाश दाहमा-Omprakash Dahma |
भाषा | हिन्दी |
कुल पृष्ठ | 453 |
Pdf साइज़ | 36.5 MB |
Category | विषय(Subject) |
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